राजस्थान

आरोपियों की गिरफ्तारी सहित पुजारी प्रोटेक्शन बिल लागू करने की मांग Demand to implement Priest Protection Bill including arrest of accused

बूंदी.KrishnakantRathore/ @www.rubarunews.com>> रक्तदंतिका माताजी मंदिर सथूर (हिंडोली) में पुजारियों पर हुए प्राणघातक हमले को लेकर आरोपियों की गिरफ्तारी एवं पुजारी प्रोटेक्शन बिल लागू करवाने की मांग को लेकर पुजारी सेवक महासंघ के जिलाध्यक्ष रामस्वरूप शर्मा के नेतृत्व में मुख्यमंत्री के नाम पर जिला कलेक्टर बूंदी को ज्ञापन दिया गया। पुजारी सेवक  महासंघ के जिला सचिव एडवोकेट दुर्गाशंकर पाराशर ने बताया कि सथूर रक्तदंतिका मंदिर में हुई लूट के आरोपियों को शीघ्र गिरफ्तार करने तथा पुजारी प्रोटेक्शन बिल लागू करने सहित सभी धार्मिक स्थलों पर सीसीटीवी कैमरे लगाए जाने की मांग की गई। इस दौरान भाजपा के पूर्व प्रदेश कार्यकारिणी सदस्य रुपेश शर्मा बूंदी,पुजारी सेवक महासंघ के जिला महामंत्री संदीप चतुर्वेदी, जिला सचिव दुर्गाशंकर पाराशर, के. पाटन तहसील अध्यक्ष महेंद्र कुमार शर्मा, विप्र सेना जिला अध्यक्ष एडवोकेट मुकेश जोशी,विप्र महापंचायत के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष मधुसूदन गौतम,कालू कटारा,माधवप्रसाद विजयवर्गीय,एडवोकेट विनोद श्रंगी,एडवोकेट कमलेश त्रिपाठी, राजेंद्र शर्मा सथूर, दौलत शर्मा नमाना, गौरीशंकर पाराशर, महावीर पाराशर, नैनवा तहसील अध्यक्ष महेश स्वरूप शर्मा, सत्यनारायण दाधीच, जगदीश बैरागी, रामचरण बैरागी, सर्व ब्राह्मण महासभा शहर अध्यक्ष पीयूष शर्मा, गिरिराज प्रजापत, दयाराम गुर्जर, निरंजन श्रंगी, रक्तदंतिका माताजी समिति अध्यक्ष त्रिलोक कुमावत, बूंदी ग्रामीण तहसील अध्यक्ष सुरेंद्र कुमार योगी सहित जिले भर के पुजारी एवं अन्य संगठनों के लोग मौजूद रहे।
व्यापार महासंघ ने भी की मंदिर में हुई लूट का खुलासा करने की मांग
सथूर रक्तदंतिका मंदिर में चोरी की घटना को 24 घंटे से अधिक बीतने के बाद भी प्रशासन के हाथ खाली हैं। इसको लेकर व्यापार महासंघ ने पुलिस प्रशासन से मांग की है की जल्द से जल्द लूट की वारदात का खुलासा किया जाए। व्यापार महासंघ अध्यक्ष निरंजन जिंदल समाजसेवी रविंद्र काला, श्याम बिहारी शर्मा, सुमित्रा बाई, महेश जिंदल, सुरेश नुवाल, माया माहेश्वरी, माधव प्रसाद विजयवर्गीय आदि ने देव स्थान विभाग के अधिकारियों पर लापरवाही का आरोप लगाया। अगर मंदिर में कैमरे लगे हुए होते तो चोरी की घटना जल्द उजागर हो सकती थी देवस्थान विभाग को मंदिर में कैमरे लगवाने चाहिए थे। रक्तदंतिका माता मंदिर लोगों की आस्था का प्रमुख केंद्र है यहां पर कई लोग प्रतिदिन दर्शन करने आते हैं देवस्थान विभाग के अधीन आने वाले इस मंदिर में सुरक्षा की कोई व्यवस्था नहीं थी। गौरतलब हैं कि सोमवार को मध्य रात्रि बाद आधा दर्जन बदमाशों ने मंदिर परिसर में सोए सेवादारों को बंधक बना कर मारपीट करते हुए लगभग लगभग 13 लाख रुपए कीमत के 7 तोला सोना, 12 किलो चांदी सहित चांदी का छात्र, सोने का टीका, नथ, मंगलसूत्र, मुकुट व नगदी लूट कर ले गए हैं। वारदात में तीन लोग घायल हो गए थें।

आरोपियों की गिरफ्तारी सहित पुजारी प्रोटेक्शन बिल लागू करने की मांग Demand to implement Priest Protection Bill including arrest of accused

मंदिर पर सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम
सथूर गांव में स्थित ऐतिहासिक महत्व का यह रक्तदंतिका माता मंदिर देव स्थान विभाग के अधीन आता है। मंदिर में सुरक्षा के कोई विशेष इंतजाम नहीं होने की बात भी सामने आई हैं। मंदिर में वर्ष 1990 में भी इसी तरह की वारदात हो चुकी हैं। उसके बावजूद विभाग द्वारा सुरक्षा के कोई विशेष इंतजाम नहीं किए गए। ग्रामीणों के अनुसार देवस्थान विभाग द्वारा मंदिर में कोई चौकीदार या सुरक्षाकर्मी भी नहीं दिया गया हैं, जबकि ग्रामीणों द्वारा इस बारें में कई बार विभाग को सूचना दी जा चुकी हैं। मंदिर में सीसीटीवी कैमरे भी नहीं होने से लुटेरों की ज्यादा जानकारी भी नहीं मिल पाई है।
ऐतिहासिक महत्व का हैं मंदिर
रियासतकालीन रक्तदन्तिका माता मन्दिर ऐतिहासिक महत्व का हैं, जिससे जुड़ी कथाओं का उल्लेख मार्कण्डेयपुराण से निर्मित दुर्गासप्तशती में वर्णित है। हालांकि मंदिर स्थापना से सम्बन्धित कोई शिलालेख उपलब्ध नहीं है, लेकिन 446 वर्ष पूर्व इसका अस्तित्व रहा है। यहाँ पूर्व में बकरे की बलि दी जाती थी, जिसे महारावराजा रामसिंह के राज्यादेश से 1865 ई. में बन्द कर दिया गया। यहां महाराव राजा रामसिंह की महारानी चंद्रभान कुँवरी द्वारा सं. 1920 में आश्विन शुक्ल अष्टमी को चांदी की छतरी भेंट करने का उल्लेख है।