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बूंदी नगर परिषद फर्जी पट्टा प्रकरण, नगर परिषद ने अपने चहेतों के बना दिये पांच फर्जी पटटे

बून्दी.KrishnakantRathore/ @www.rubarunews.com- नगर परिषद बूंदी द्वारा अक्टूबर 2023 में जारी किए पटटा संख्या 92,93,95,96 तथा 99 को जांच में नियम विरुद्ध मानते हुए सभापति एवं तत्कालीन आयुक्त जोधाराम विश्नोई को दोषी माना गया है। जांच में दोषी पाये जाने पर दोनों पर कार्यवाही की तलवार लटक रही है परन्तु राजनीतिक जुगाड से फिलहाल दोनों बचे हुये है।
नगर परिषद में नेता प्रतिपक्ष मुकेश माधवानी ने नियम विरुद्ध बनाए गए फर्जी पट्टे की शिकायत जिला कलेक्टर से की थी परन्तु उनके द्वारा कोई कार्यवाही नहीं करने पर मुख्य सचिव के यहां फर्जी पट्टे की शिकायत हुई। मुख्य सचिव ने 14 फरवरी 2024 को टाईम लाइन प्रकरण दर्ज कर 10 दिन के अन्दर जांच रिपोर्ट भेजने के आदेश निदेशक स्वायत शासन विभाग को दिए। इस पर कोटा स्थित उपनिदेशक स्वायत शासन विभाग ने जांच प्रारंभ की और जांच कर 5 पटटो मे सभापति नुवाल और तत्कालीन आयुक्त जोधाराम विश्नोई को दोषी मानते हुए जांच रिपोर्ट निदेशक को प्रेषित कर दी। उपनिदेशक ने 7 अधिकारियों की कमेटी बनाकर जांच की थी। जांच रिपोर्ट आने के बाद 27 जून 2024 को नगर परिषद सभापति को स्वायत शासन विभाग के निदेशक ने स्पष्टीकरण नोटिस दिया। सभापति ने इसका जवाब दे दिया है। अब उक्त प्रकरण की पत्रावली धारा 39 ए के अन्तर्गत स्वायत शासन मंत्री के पास लंबित है। लेकिन जानकारों के अनुसार राजनीतिक दबाव में इस प्रकरण में अब तक दोषी लोगों के खिलाफ कार्यवाही नहीं हो रही है। इसकी सुगबुगाहट बूंदी भाजपा मे इन दिनो जोरो पर है। ये चार फर्जी पटटे लंका क्षेत्र से जुड़े हुए है। भाजपा की सरकार होने के बाद दूध भी सभापति व आयुक्त पर कार्रवाई नहीं होना शहर में चर्चा का विषय बना हुआ है।
यह है उपनिदेशक की जांच रिपोर्ट मे
जांच रिपोर्ट में पटटा संख्या, 92,93,95 एवं 96 एक परिवार के सदस्यों के नाम जारी किये गये है। उक्त पटटा पत्रावली में बिजली का बिल धुलीलाल पुत्र किशन गोपाल के नाम का संलग्न है। पटटा पत्रावली में धुलीलाल से आवेदकों तक स्वामित्व के दस्तावेज की चैन उपलब्ध नहीं है। इसके साथ ही स्टेट टाइम के दस्तावेजों के अपठनीय होने का उल्लेख भी जांच रिपोर्ट में है।